11-12 जनवरी को इंदौर में होने वाला वैश्विक निवेश सम्मेलन (ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट) हवा की सेहत के लिहाज से भी खास होगा। यह पहली बार होगा, जब कोई ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट कार्बन न्यूट्रल होगी। पूरे आयोजन को इस तरह डिजाइन किया जा रहा है कि कार्बन डाइऑक्साइड जैसी ग्रीन हाउस गैसों का उत्सर्जन कम से कम हो। इसे रोकने के लिए रोबोट की भी मदद ली जाएगी। पोस्टर-बैनर में भी अधिक से अधिक ईको फ्रेंडली सामग्री का उपयोग किया जाएगा।
इसके बावजूद भी जितनी कार्बन डाइऑक्साइड का उत्सर्जन होगा, उसकी भरपाई सरकार कार्बन क्रेडिट खरीद कर करेगी। इसके चलते आयोजन में 25 लाख तक के अतिरिक्त खर्च का अनुमान है। चूंकि इंदौर देश का सबसे स्वच्छ शहर है, इसलिए समिट में भी जीरो वेस्ट का लक्ष्य रखा गया है। कार्बन डाइऑक्साइड गैस को ग्लोबल वार्मिंग के लिए प्रमुख रूप से जिम्मेदार माना जाता है।
आयोजन में इसका उत्सर्जन रोकने पर भी जोर होगा। छुपी हुई सामग्री का उपयोग कम करने के लिए आयोजन में रोबोट की भी मदद ली जाएगी। जिसमें बारकोड स्कैन कर आयोजन से जुड़ी सारी जानकारी डाउनलोड हो सकेगी। परिवहन के लिए यथासंभव सीएनजी इलेक्ट्रिक कारों/बसों का उपयोग किया जाएगा।
प्लास्टिक के बजाय कांच की बोतल आदि के उपयोग पर जोर होगा। समिट का जिम्मा संभाल रहे मनीष सिंह कहते हैं कि अध्ययन से सामने आया है कि मांसाहारी भोजन ज्यादा कार्बन फुटप्रिंट छोड़ते हैं। इसलिए सिर्फ शाकाहारी भोजन ही परोसा जाएगा। यही नहीं मीनू में ज्यादा कार्बन फुटप्रिंट वाली विदेशी खाद्य सामग्री नहीं होगी।
मुख्यमंत्री की इच्छा थी कि जिस तरह इंदौर ने छह बार स्वच्छता अवार्ड जीत कर देश को सफाई का संदेश दिया है। उसी तरह ग्लोबल वार्मिंग रोकने के लिए हवा की स्वच्छता का संदेश भी यहां से जाए। इसीलिए हम इसे कार्बन न्यूट्रल इवेंट बना रहे हैं।
-मनीष सिंह, एमडी, एमपीआईडीसी
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