Header Ads Widget

Responsive Advertisement

पर्व पर कम हुआ ऑनलाइन का चलन, स्थानीय बाजार हुआ गुलजार


देश में मंदी के हल्ला के बीच दिवाली पर्व के लिए खरीददारी करने बाजारों में चहल-पहल बढ़ गई है। इस बार ग्राहकों का ऑनलाइन बाजार से मोह भंग होता दिख रहा है, जिसका सीधा लाभ व्यापारियों को हो रहा है। खुद खरीददारी और दुकानदारों के विश्वास के कारण भी लोग सीधे शोरूम या दुकानों में जाकर घर के बड़े सामानों की खरीददारी कर रहे हैं। इसमें चाहे कपड़े हों या फिर इलेक्ट्रिक सामान।


दिवाली के मौके पर दूर-दराज से अपने घर आए लोग बाजार की ओर रुख कर रहे हैं। गहने सहित घरों के इलेक्ट्रिकल समानों की खरीददारी में लगे हैं। शहर के प्रमुख बाजार भीड़ से भर गए हैं। इससे सीधे तौर पर उपभोक्ताओं को भी लाभ पहुंच रहा है। लोगों का कहना है कि सामान की टूट-फूट या किसी भी प्रकार की समस्या होने पर तुरंत हाथो-हाथ बदला जा सकता है और पूरी तरह गारंटी या वारंटी होती है। जबकि ऑनलाइन बाजार में ग्राहकों को कई प्रकार की समस्या का सामना करना पड़ता है


साइबर क्राइम का डरः


ऑनलाइन से अब सीधे बाजार से सामग्री खरीदने के पीछे लोगों को साइबर क्राइम का डर भी है। जबलपुर में ही साल भर में एक सैंकड़ा से ज्यादा लोगों की शिकायतें सायबर सेल में दर्ज हैं जहां वे किसी न किसी तरह ऑनलाइन ठगी का शिकार हुए हैं। इसके साथ ही ऑनलाइन सामग्री आने पर भी कई लोग ठगे गए हैं जहां उन्हे नकली सामान या खाली डिब्बा पकड़ा दिया गया जबकि पैसों का भुगतान खाते से पहले ही हो गया


आज भी ग्राहक बाजार से संतुष्टः


जबलपुर में छह कंपनियां पंजीकृत हैं, जो ऑनलाइन ई-कॉमर्स कंपनियों के सामानों की डिलेवरी ग्राहकों को करती हैं। पहले जहां एक सप्ताह में 10 करोड़ से ज्यादा के उत्पादों की बिक्री हो रही थी वहीं अब त्योहारी सीजन में भी यह आंकड़ा घटकर 4 से 5 करोड़ तक आ गया है। वहीं जबलपुर में लगभग 50 हजार से अधिक व्यापारी वर्ग के लोग हैं जो किसी न किसी रूप में दुकान, शोरूम संचालित करते हैं। इनका व्यवसाय इन ऑनलाइन कंपनियों से कई गुना ज्यादा है। ग्राहकों का इन पर विश्वास अधिक होने से त्योहार में भीड़भाड़ बढ़ गई है


एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ